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भारतीय कामगार की दुबई में हुई मौ’त, फोन पर खबर आई तो गांव में मचा को’हराम

भारत में कई लोग ऐसे हैं जो बहुत ही ज्यादा पढ़ लिखे नहीं होते हैं, लेकिन फिर अपने गरीब परिवार को गरीबी के दलदल से बाहर निकालने में कोई कसर नहीं छोड़ना चाहते हैं। ज्यादा पढ़े लिखा न होने की वजह से वो भारत में कोई ज्यादा पैसे वाला काम नहीं कर पाते हैं। ऐसे में इन लोगों के पास ज्यादा पैसे कमाने का एक ही रास्ता बचता है और वो रास्ता हैं विदेश जाकर पैसे कमाना….. भारत से हर साल कई सारे लोग ज्यादा पैसे कमाने के लिए विदेश जाते है।

इन्हीं में से एक बिसुन महतो भी थे। जो बिष्णुगढ़ थाना क्षेत्र करगालो पंचायत के बिरन बेडा के रहने वाले थे। हाल ही में खबर आई हैं कि 45 साल के बिसुन महतो की दुबई में मौ’त हो गई है। जैसे ही उनके घर पर बिसुन की मौ’त की खबर  फोन से दी गई। वैसे ही गांव में कोह’राम म’च गया है।

भारतीय कामगार की दुबई में हुई मौ'त, फोन पर खबर आई तो गांव में मचा को'हराम

खबरों के पता चला हैं कि बिसुन महतो दुबई की KEC ट्रांसमिशन की कंपनी में काम कर रहे थे। बिसुन के परिवार के कहना हैं कि बिसुन पिछले काफी समय से बीमार चल रहे थें, लेकिन फिर भी कंपनी की तरफ से उसका इलाज सही ढंग से नहीं किया जा रहा था और वहीं इलाज के दौरान ही अस्पताल में बिसुन की 4 जुलाई की रात को मौ’त हो गई। जब बिसुन की मौ’त की खबर कंपनी वालों से उनके परिवार वालों को दी, तो ये खबर सुनते ही बिसुन के परिवार के सभी लोग का रो-रोकर बुरा हाल है। इतना ही नहीं बिसुन की पत्नी और बच्चें भी जोर जोर से रोने लगे।

बिसुन अपने पीछ अपनी पत्नी फगनी देवी, बच्चे कुलदीप महतो, हीरामन महतो, रोहित महत और शिल्पा कुमारी को रोता हुआ छोड़ कर इस दुनिया से हमेशा हमेशा के लिए चले गए। बिसुन की मौ’त खबर सुनते ही अड़ोस पड़ोस के लोगों की भीड़ उनके परिवार को चुप कराने और सात्वंना देने लगी। वहीं गांव के सोशल वर्कर सिकन्दर अली ने जिस कंपनी में बिसुन काम करते थे, उस कंपनी से उचित मुआवजे की करते हुए सरकार से गुहार लगाई हैं कि बिसुन की डे;ड बॉ’डी को जल्द से जल्द भारत में उनके गांव लाया जाए, ताकि सहीं ढ़ंग से उनका अंतिम सं’स्कार किया जा सके।