अबू धाबी में काम करने वाले 23, 000 से अधिक कामगार की बची हुई सैलरी मोबाइल लेबर कोर्ट के जरिए से हल करके मिला है। 23,000 से ज्यादा कामगारों को दी गई ये अनपेड पैन्डिंग सेलेरी करीब Dh261 मिलियन रही। खास बात यह रही है कि मोबाइल लेबर कोर्ट के जरिए सैलरी की समस्या को उनके घर के गेट पर दी गई है।
इन सभी कामगारों ने जनवरी से जून तक की सैलेरी ना मिलने की शिकायत कोर्ट में दर्ज करवाई थीं। फरवरी में एक मामले में एक कैटरिंग कंपनी के 700 से अधिक कामगारों ने मोबाइल लेबर कोर्ट के हस्तक्षेप के बाद अपनी अनपेड Dh26 मिलियन सैलेरी पाई थी। इस मुद्दे को भी मोबाइल लेबर कोर्ट ने सही ढंग से सुलझा दिया था।
uae के कुछ अधिकारियों ने रेम्युनेरेशन पर मजदूरो और उनके नियोक्ता के बीच साल भर से चल रहे विवाद को समाप्त करने के लिए मानव संसाधन और अमीरात मंत्रालय के साथ सहयोग किया।
बता दें कि कोरोना वायरस के कारण लगे लॉकडाउन की वजह से वेटर, रसोइया, प्रशासक और ड्राइवर सहित कई जगहो पर काम करने श्रमिकों ने बिना सैलेरी के कई महीनों का समय बिताया था क्योंकि उनके मालिको की कंपनी में फ्लाइनेंशनल क्राइसस चल रही थी। इस इन सभी सेक्टर में काम करने वाले कई लोगों को कई महीनों से सैलेरी नहीं दी जा रही थी और बिना सैलेरी के ही वो लोग काम करते थे उसके साथ ही अपनी भी गुजारा करते थे।
लेकिन इस साल जून में अबू धाबी न्यायिक विभाग की तरफ से शुरू की गई इस नई टेक्नीक के जरिए से अब कामगारों को अपने बैंक अकाउंट में अदालतों के चक्कर काटे बिना अपने घर पर अपनी रूकी हुई सैलेरी को पाएंगे।
अबू धाबी लेबर कोर्ट के प्रमुख अब्दुल्ला फारिस अल नूमी ने कहा कि “पिछले कुछ सालों में अबू धाबी के न्यायिक विभाग तरफ से नई न्यायिक पहल शुरू की गई है और इनसे श्रम विघटन के त्वरित, आसान समाधान और मजदूरी के भुगतान में लोगों का काफी मदद मिली है। “